भारत छोड़ो आंदोलन की पृष्ठभूमि और बिहार
Author(s): डाॅ. सोनी कुमारी
Abstract: भारत छोड़ो आंदोलन हो या भारतीय स्वाधीनता संग्राम की कोई भी लड़ाई, उसमें बिहार की भूमिका कभी कमतर नहीं रही है। बिहार वीरों की धरती है, आंदोलन की धरती है, संघर्ष की धरती है, यह सर्वविदित है। जिस समय महात्मा गांधी के कुशल नेतृत्व में भारतीय स्वाधीनता के लिए संघर्ष हो रहा था, उस समय बिहार के आंदोलनकारियों और स्वाधीनता सेनानियों ने अपनी जान की कुर्बानी देकर अपनी भूमिका को सुनिश्चित किया था। ‘भारत छोड़ो आंदोलन’ का नेतृत्व जब किया जा रहा था, उससे पूर्व ही बिहार वासियों ने इसकी पृष्ठभूमि तैयार कर दी थी। इस पृष्ठभूमि को ‘चंपारण सत्याग्रह’, ‘बेगूसराय गोलीकांड’, ‘बिहार किसान आंदोलन’, ‘बिहार मजदूर आंदोलन’ तथा ‘बिहार क्रांति आंदोलन’ के रूप में देखा जा सकता है। अतएव कहा जा सकता है कि भारत छोड़ो आंदोलन में बिहार की पृष्ठभूमि अत्यंत मजबूत और चिरस्मरणीय है।
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डाॅ. सोनी कुमारी. भारत छोड़ो आंदोलन की पृष्ठभूमि और बिहार. Int J Hist 2020;2(2):18-20.