बारह पंथी: à¤à¤• à¤à¤¤à¤¿à¤¹à¤¾à¤¸à¤¿à¤• विवेचन
Author(s): अजंना यादव
Abstract: ‘बारह पंथी’ नाथ पंथ की 12 शाखाà¤à¤‚ हैं। नाथ पथ पà¥à¤°à¤¾à¤šà¥€à¤¨ संत समà¥à¤ªà¥à¤°à¤¦à¤¾à¤¯ है। नाथ पंथ का उदà¥à¤à¤µ आदि देव शिव से माना जाता है। नाथ नंथ के अनà¥à¤¯à¤¾à¤¯à¥€ शिव की अराधना करते हैं। इनके साधना पदà¥à¤§à¤¤à¤¿ हठयोग पर आधारित है। आतà¥à¤® साकà¥à¤·à¤¾à¤¤à¥à¤•à¤¾à¤° तथा समाज कलà¥à¤¯à¤¾à¤£ नाथ पथियों का मà¥à¤–à¥à¤¯ धà¥à¤¯à¥‡à¤¯ हैं। गोरखनाथ जी ने कर सà¤à¥€ शैव समà¥à¤ªà¥à¤°à¤¦à¤¾à¤¯à¥‹à¤‚ को संगठित कर उस समय उनà¥à¤¹à¥‹à¤‚ने नाथ समà¥à¤ªà¥à¤°à¤¦à¤¾à¤¯ को बारह शाखाओं में बांट दिया। पà¥à¤°à¤¤à¥à¤¯à¥‡à¤• शाखा का अपना महातà¥à¤®à¤¾ तथा अपना सà¥à¤¥à¤¾à¤¨ होता है। वह सà¥à¤¥à¤¾à¤¨ उनका तीरà¥à¤¥ तथा महातà¥à¤®à¤¾ को आदि पà¥à¤°à¤°à¥à¤µà¤¤à¤• मानकर उसकी पूजा करते है। बारहपंथी शाखाओं में 6 शिव तथा 6 गोरखनाथ से समà¥à¤¬à¤¨à¥à¤§à¤¿à¤¤ नाथ पंथ से समà¥à¤¬à¤¨à¥à¤§à¤¿à¤¤ रखते हैं। ये बारह पंथी शाखाà¤à¤‚ समà¥à¤ªà¥‚रà¥à¤£ à¤à¤¾à¤°à¤¤ वरà¥à¤· में फैली हà¥à¤ˆ है।
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How to cite this article:
अजंना यादव. बारह पंथी: à¤à¤• à¤à¤¤à¤¿à¤¹à¤¾à¤¸à¤¿à¤• विवेचन. Int J Hist 2020;2(2):34-37.